ईश्वर तेरे दरबार की महिमा अपार है भजन लिरिक्स
ईश्वर तेरे दरबार की, महिमा अपार है, बंदा न सके जान, तेरा क्या बिचार है, ईंश्वर तेरे दरबार की, महिमा...
Read moreईश्वर तेरे दरबार की, महिमा अपार है, बंदा न सके जान, तेरा क्या बिचार है, ईंश्वर तेरे दरबार की, महिमा...
Read moreहरिनाम सुमर सुखकारण रे, सुखकारण रे, भवतारण रे, हरिनाम सुमर सुखकारण रें।। सोवत जागत फिरत निरंतर, सोवत जागत फिरत निरंतर,...
Read moreक्यों पानी में मल मल नहाये, मन की मैल उतार, मन की मैल उतार, क्या पानी में मल मल नहावें,...
Read moreनबजिया वैद क्या जाणे, हमें दिल कि बीमारी है।। कभी कफ रोग बतलाये, कभी तासीर गरमी की, जिगर का हाल...
Read moreमुझे है काम ईश्वर से, जगत रूठे तो रूठन दे।। कुटुम्ब परिवार सुत दारा, माल धन लाज लोकन की, हरि...
Read moreसंदेसा आ गया यम का, चलन की कर तैयारी है।। बाल सिर के हुए धोले, सफेदी आँख पर छाई, कान...
Read moreसदाशिव सर्व वरदाता, दिगम्बर हो तो ऐसा हो, हरे सब दुःख भक्तों के, दयाकर हो तो ऐसा हो, सदाशिंव सर्व...
Read moreजिसको नही है बोध तो, गुरु ज्ञान क्या करे, निज रूप को जाना नहीं, पुराण क्या करे।। घट घट में...
Read moreप्रेम नगर मत जा ए मुसाफिर, दोहा - प्रेम बिना पावे नहीं, चाहे हुनर करो हज़ार, कहे प्रीतम प्रेम बिना,...
Read moreलगाले प्रेम ईश्वर से, अगर तू मोक्ष चाहता है।। रचा उसने जगत सारा, करे वो पालना सब की, करे वो...
Read more© 2024 Bhajan Diary