म्हारा बैंक को मैनेजर,
म्हारो श्याम,
सेठा रे वालों सेठ सांवरो।।
मज रे मेवाड़ा गढ जिला,
चितौड़ में पुजारीया,
मण्डफीया वाली धरतीया पे,
सांवरीया सेठ कहलाया,
अरे थेतो अन धन लक्ष्मी रा दातार,
सेठा रे वालों सेठ साँवरो।।
रुपिया का भंडार भरीया हैं,
माया तू ही जाने,
हो थारी माया सेठ सांवरा,
ना कोई पहचाने,
भगता का काम ने बणावे,
मिनीटा माय,
सेठा को सेठ म्हारो सांवरो।।
अरे करे विनती भक्त गेणेरा,
वाका काज सँवारे,
अरे आवे थारी चौखट पर,
वो राजी होकर जावे,
अरे थे तो प्लेन सु भी,
ज्यादा सुपर फास्ट,
भगता रा काज थे संवारो,
सेठा को सेठ म्हारो सांवरो।।
जब जब भगता पे आवे विपदा,
उ विपदा सु तारे,
नरसी की नानी के गयो ज्यु,
भगता के घरा पधारें,
अरे थारा नाम सु चालो रे करोबार,
हिसाब मारों थे ही राखो।।
गोकुल शर्मा गावे साँवरा,
मोटी थारी माया,
सब भगता का भरीया राख ज्यों,
अनधन का भंडारा,
बालाजी डीजे पे बजावा म्हारा श्याम,
भजना वालों उडे झीको।।
म्हारा बैंक को मैनेजर,
म्हारो श्याम,
सेठा रे वालों सेठ सांवरो।।
गायक – गोकुल शर्मा।
Upload By – Aaryan Sharma
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Jai shree sawliya shet