मुझे मेरी मस्ती कहाँ लेके आई ओसमान मीर भजन
मुझे मेरी मस्ती कहाँ लेके आई, श्लोक – पीले पीले पीले, दुनिया लुटा के पी, मस्ताना बन के पी, इस से ज्यादा शौक …
मुझे मेरी मस्ती कहाँ लेके आई, श्लोक – पीले पीले पीले, दुनिया लुटा के पी, मस्ताना बन के पी, इस से ज्यादा शौक …
मन लागो मेरो यार फकीरी में, श्लोक – कबीर खड़ा बाजार में, माँगत सबकी खैर, ना किसी से दोस्ती, ना किसी से बैर। …
बिनती सुनिए नाथ हमारी, दोहा – प्रीतम बसे पहाड़ में, मैं यमुना के तीर, अब तो मिलना मुश्किल है, पाँव पड़ी है जंजीर। …
चोख पुरावो माटी रंगावो, आज मेरे प्रभु घर आवेंगे, खबर सुनाऊ जो, ख़ुशी ये बताओ जो, आज मेरे प्रभु घर आवेंगे।। हेरी सखी मंगल …
काहे तेरी अखियों में पानी, दोहा – जोगनिया का भेष बनाके, तुम्हे पुकारूँ मोहन, रख लो लाज मेरी कान्हा, बन गई तेरी जोगन। …