बाजे छे झीणा झीणा धिन मेघ रिखों रा वीणा
बाजे छे झीणा झीणा, धिन मेघ रिखों रा वीणा। दोहा – सौ बिजलियां रुके नहीँ, नही रुके बादल रो वेग, जम्मो जगायो हऱी …
बाजे छे झीणा झीणा, धिन मेघ रिखों रा वीणा। दोहा – सौ बिजलियां रुके नहीँ, नही रुके बादल रो वेग, जम्मो जगायो हऱी …