रघुनंदन प्राण हमारा मुनि यह क्या वचन उच्चारा

रघुनंदन प्राण हमारा, मुनि यह क्या वचन उच्चारा।। मुनि मांगों देश खजाना, मनभावत लीजे दाना, मेरा जीवन इनके लारा, रघुनंदन ...

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जन्माष्टमी भजन लिरिक्स

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