कैलाशी काशी के वासी शंकर शंभू भोले हो
कैलाशी काशी के वासी, शंकर शंभू भोले हो, गंग तरंग भुजंग अंग में, चढै भंग के गोले हो।। भाल बीचविधु...
Read moreDetailsकैलाशी काशी के वासी, शंकर शंभू भोले हो, गंग तरंग भुजंग अंग में, चढै भंग के गोले हो।। भाल बीचविधु...
Read moreDetailsभोले तेरी जटा में गंगा, बहती है दिन रात जी, बहती है दिन रात जी, बहती है दिन रात जी,...
Read moreDetailsदेवो के देव महादेवा, मेरा शिव भोला भण्डारी है।। जब सृष्टि में अंधकार हुआ, तुने बिष का प्याला आन पिया,...
Read moreDetailsतेरा डम डम डमरू बाजे, हो भोला भण्डारी, हो भोला भण्डारी।। शिव शंकर मेरा भोला भाला, तन पै बांधे यो...
Read moreDetailsहरिद्वार में आगे भोले, लाव बम बम के जयकारे, गंगा जी मैं डुबकी लाक, मिट जा सारे रोले हो।। गंगा...
Read moreDetailsकरले सेवा मात पिता की, फेर पाछे पछतावेगा, धन माया म धंसा फिरे तु, कोए ना देखन आवेगा।। तर्ज -...
Read moreDetailsआ काली री एक बार, भवन में आ काली।। भगत तेरे री मां दर प आए, ये तो दुख दर्दा...
Read moreDetailsतेरे आये री भगत दरबार में, माँ मनसा भवन के पट खोलिये, मां मनसा भवन के पट खोलिए।। तर्ज -...
Read moreDetailsतेरा करया जागरण आज री, माँ मनसा आइये।। तर्ज - गुरु बुलावा। लाल चुनरिया ल्याया री माँ, लाल लाल चोला,...
Read moreDetailsबेरी आली मात भीमेश्वरी, कहै तनै दुनिया सारी, लाखों भगत तनै तारे मैया, इबकै सै मेरी बारी।। रोज रोज ना...
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