हारे के सहारे मुझे तुम बिन ना आराम लिरिक्स
हारे के सहारे, मुझे तुम बिन ना आराम, नाराज़ी क्या है ऐसी, जो भूल गए मुझे श्याम।। तर्ज – सावन का महीना। चौखट …
हारे के सहारे, मुझे तुम बिन ना आराम, नाराज़ी क्या है ऐसी, जो भूल गए मुझे श्याम।। तर्ज – सावन का महीना। चौखट …