बालासा म्हारा कीर्तन में आवो जी भजन लिरिक्स

बालासा म्हारा कीर्तन में आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



म्हे मनमा थारी,

ज्योत जगावा जी,
भक्ति और शक्ति द्यो,
नही पल बिसरावा जी,
बालासा म्हारा कीर्तन मे आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



चरणा री धुली,

इकबार पावा जी,
श्री राम के प्यारे,
भव से तर जावा जी,
बालासा म्हारा कीर्तन मे आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



थारे ढोल नगाड़ा,

शंख बजावा जी,
इकबार थे आजावो,
थारी आरती गावा जी,
बालासा म्हारा कीर्तन मे आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



सियाराम जी से,

म्हाने मिलावो जी,
भक्ता के संग मिलकर,
नाचा और गावा जी,
बालासा म्हारा कीर्तन मे आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



घर घर में थारो,

नाम जपावा जी,
म्हारे हिवड़े बस जावो,
म्हे आस लगावा जी,
बालासा म्हारा कीर्तन मे आवो जी,
एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।



बालासा म्हारा कीर्तन में आवो जी,

एक बार थे आजावो,
म्हे ढोक लगावा जी।।

प्रेषक & गायक – रोहित कुमार शर्मा,
संपर्क – 08399991281


https://youtu.be/2vrAXDq8aGQ

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